इस प्रोजेक्ट पर होगा 10 करोड़ रूपए का खर्च
लखनऊ,संवाददाता |अब आपको ऑक्सीजन लेबल, ब्लड टेस्ट, ब्लड प्रेशर, शुगर और यूरीन समेत कई अन्य जांचों के लिए सरकारी और निजी अस्पताल के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। जी हाँ क्योंकि अब आपको अपने इलाकों या प्रमुख चौराहों पर यह सुविधाएँ उपलब्ध होने जा रही हैं | इसके लिए स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत 100 हेल्थ एटीएम खरीदे जा चुकें है।इसके लिए जल्द उन स्थानों को चिन्हित किया जाना है जहाँ ये सुविधाएँ दी जनि हैं | शहर में सौ अलग-अलग इलाकों में इसको लगाया जाएगा। यहाँ स्वास्थ्य संबंधी तमाम सुविधाएं दी जाएँगी ।
हेल्थ एटीएम करवाएगी पीजीआई के डॉक्टरों से बात
इस दौरान अगर किसी मरीज़ को ज्यादा परेशानी होती है तो उसकी हेल्थ एटीएम पीजीआई के डॉक्टरों से बात कराएगी। इसमें उनको पीजीआई में अपॉइंटमेंट दिलवाया जाएगा। जहां मरीज अपना बेहतर इलाज करवा सकता है। इसको लेकर पीजीआई से आखिरी चक्र की वार्ता भी लगभग तय हो चुकी है। एटीएम पर तैनात नर्स से लेकर टेक्निशियन भी ट्रेंड होंगे और यहां जेनरिक दवाएं उपलब्ध कराने का काम भी शुरू होगा।
थोड़ी है असमंजस की स्थित
इस यूनिट से जुड़े नगर निगम के एक अभियंता एससी सिंह के अनुसार इसकी पूरी तैयारी हो चुकी है। हालांकि, इसमें यह भी राय बन रही है कि इसको मोबाइल हेल्थ एटीएम में तब्दील कर दिया जाए। जिससे कि लोगों को घर तक यह सुविधा मुहैया करवाई जा सके। हालांकि, बोर्ड में अभी इसको लेकर सहमति नहीं बनी है। इस वजह मशीनों को अभी नहीं लगाया जा रहा है।
स्मार्ट सिटी प्रबंधन इस प्रोजेक्ट पर 10 करोड़ खर्च करेगा
35 लाख से अधिक लखनऊ की आबादी में देखा जाए तो आम दिनों में प्रतिदिन 20 लाख लोग घर से बाहर निकलते है |उसके अलावा राजधानी होने की वजह से लाखों बाहरी लोगों का आना भी होता है। वह भी इसका लाभ ले सकेंगे। जानकारी के अनुसार एक मशीन की कीमत दस लाख रुपए हैं। इस प्रोजेक्ट में स्मार्ट सिटी प्रबंधन करीब 10 करोड़ रुपए खर्च करेगा। उम्मीद है कि शहर के सभी प्रमुख बाजारों के अलावा चौराहों, पार्क और ऐसी जगह जहां पर नियमित लोगों का आना- जाना होता है, वहां इनको लगाया जाएगा। इससे कि ज्यादा से ज्यादा लोग इसका लाभ ले सके।