लखनऊ, 14 सितंबर। काउंसिल ऑफ साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रियल रिसर्च (सीएसआईआर) द्वारा आयोजित स्टार्टअप कॉन्क्लेव 2025 का शुभारंभ आज लखनऊ के सीएसआईआर-नेशनल बोटैनिकल रिसर्च इंस्टीट्यूट (एनबीआरआई) के केएन कौल ब्लॉक में हुआ। यह दो दिवसीय आयोजन (14-15 सितंबर) बायोटेक्नोलॉजी, फार्मास्यूटिकल्स, हेल्थकेयर, कृषि, और पर्यावरण विज्ञान के क्षेत्र में नवाचार को बढ़ावा देने के लिए एक मील का पत्थर साबित होने की उम्मीद है। इस कॉन्क्लेव का उद्देश्य अनुसंधान और उद्योग के बीच सहयोग को मजबूत करना, स्टार्टअप्स को निवेशकों से जोड़ना, और उत्तर प्रदेश को तकनीकी उद्यमिता का केंद्र बनाना है।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उद्घाटन समारोह में कहा कि यह आयोजन ‘स्टार्टअप इंडिया’ और ‘मेक इन इंडिया’ जैसे राष्ट्रीय मिशनों को गति देगा। उन्होंने जोर देकर कहा कि उत्तर प्रदेश अब केवल कृषि या परंपरागत उद्योगों तक सीमित नहीं है, बल्कि बायोटेक और इनोवेशन का वैश्विक हब बनने की दिशा में अग्रसर है। केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री जितेंद्र सिंह ने वर्चुअल संबोधन में इस आयोजन को “भारत के वैज्ञानिक भविष्य का ब्लूप्रिंट” करार दिया।कॉन्क्लेव में 50 से अधिक सीएसआईआर-इनक्यूबेटेड स्टार्टअप्स अपनी अत्याधुनिक तकनीकों का प्रदर्शन कर रहे हैं। इनमें बायोडिग्रेडेबल पैकेजिंग, जीन-एडिटिंग तकनीक, और कैंसर डायग्नोस्टिक्स जैसे क्षेत्र शामिल हैं। आयोजन में पैनल डिस्कशन, पिच सेशन, और वर्कशॉप आयोजित किए जा रहे हैं, जहां उद्यमी निवेशकों और नीति निर्माताओं से सीधे संवाद कर रहे हैं। एक स्टार्टअप प्रतिनिधि, डॉ. अनुराग मिश्रा, जिन्होंने पर्यावरण-अनुकूल कीटनाशक विकसित किया है, ने बताया कि इस मंच ने उन्हें बड़े निवेशकों तक पहुंच प्रदान की है।एनबीआरआई के निदेशक डॉ. प्रबोध त्रिवेदी ने कहा कि लखनऊ में इस तरह का आयोजन शहर की वैज्ञानिक क्षमता को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शित करता है। आयोजन में स्टूडेंट्स और युवा वैज्ञानिकों के लिए विशेष सत्र भी रखे गए हैं, जहां वे मेंटरशिप और फंडिंग के अवसरों के बारे में जान सकते हैं।