लखनऊ,संवाददाता। इस्राइल सैनिकों द्वारा फिलिस्तीन की जनता पर निरंतर किए जा रहे अत्याचार के विरुद्ध आज एक बड़ी कार्रवाई देखने को मिली है।
हालांकि इस कार्रवाई का अंजाम अच्छा होने वाला नहीं है लेकिन फिर भी इस्राइल पर अचानक किए गए इस रॉकेट हमले में भारी नुक्सान होने के समाचार प्राप्त नहीं हुए हैं।
फिलिस्तीन पर निरंतर किए जा रहे अत्याचार का जवाब वैसे तो इस्राइल को भी दिया जाता रहा है लेकिन जैसा जवाब आज फिलिस्तीन की ओर से दिया गया उसका अंदाज खुद इस्राइल को भी नहीं था। जब पूरा इस्राइल सुबहा सुबहां सो रहा था तब अचानक फिलिस्तीन के एक अन्य गुट हमास ने दस मिनिट में पांच हजार मिसाईल दाग कर इस्राइल को चौका दिया।
दरअस्ल फिलिस्तीन की भूमि पर इस्राइल द्वारा निरंतर कब्जा कर अधिग्रहित भूमि पर अपने नागरिक बसता चला जा रहा है और इसके विरोध करने पर इस्राइल फिलिस्तीनियों पर सैकड़ों हमले करके जान वा माल का नुकसान कर चुका है। इस बदले की भावना ने आज हमास जैसे आतंकी संगठन को इतना बड़ा हमला किए जाने पर मजबूर कर दिया।
गजा से इस्राइल पर दागे गए रॉकेट, सीमावर्ती शहरों में घुसे हमास ने टैंकों पर किए कब्जे
गजा ने इस्राइल पर दर्जनों रॉकेट दागे हैं। और इस हमले के बाद हमास ने इस्राइल पर तीन तरफ से हमला और तेज़ शुरू कर इस्राइल के कई सैनिकों, नागरिकों और टैंकरों को अपने कब्जे में ले लिया है।
जानकारी के अनुसार शनिवार को अवरुद्ध गजा पट्टी से इस्राइल की ओर दर्जनों रॉकेट दागे गए। हमलों की पुष्टि इसलिए हुई क्योंकि इस्राइल में आने वाली आग की चेतावनी देने वाले सायरन बज रहे थे।
जनता से बंकरों में छिपने की अपील
इस्राइली सेना ने देश के दक्षिण और मध्य क्षेत्रों में एक घंटे से अधिक समय तक सायरन बजाकर आम जनता को चेतावनी दी। सुरक्षाबलों और स्थानीय प्रशासन की तरफ से अपील की गई है कि जनता बम शेल्टर यानी बंकरों में शरण ले।
आम नागरिकों को कितना नुकसान?
रॉकेट हमले के बारे में सेना ने बताया, “गजा पट्टी से कई आतंकवादियों ने इस्राइली क्षेत्र में घुसपैठ की है।” इस्राइल की आपातकालीन सेवा एजेंसी- मैगन डेविड एडोम ने भी हमले के बारे में बयान दिया। जानकारी के अनुसार, मध्य इस्राइल में एक इमारत पर रॉकेट गिरने के बाद 70 वर्षीय महिला हताहत हुई। खबर के अनुसार महिला की हालत गंभीर है। एक अन्य व्यक्ति फंस गया था।
प्रधानमंत्री ने सुरक्षा एजेंसियों के साथ बैठक की
जानकारी के मुताबिक हमलों के बाद इस्राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के कार्यालय से भी बयान जारी किया गया था कि वो जल्द ही हिंसा से जुड़े सुरक्षा प्रमुखों के साथ बैठक करेंगे। जिस बैठक संपन्न होने के बाद इस्राइल को मुंहतोड़ जवाब दिए जाने पर सहमति बनी और इस्राइल ने भी जवाबी कार्रवाई शुरू कर दिवाई।
बताते चलें कि हमास आतंकवादी समूह के सत्ता में आने के बाद 2007 से इस्राइल ने गजा पर गंभीर नाकाबंदी कर दी थी। फिलिस्तीन के हजारों नागरिकों को बाधक बन लिया था और निरंतर अत्याचार जारी रखा था। अगर अत्याचार के प्रति हमास जिम्मेदार है तो इस्राइल भी दूद का धुला हुआ नहीं है।
फिलिस्तीनी उग्रवादियों और इस्राइल के बीच पिछले 16 साल में कई बेहद विनाशकारी युद्ध हो चुके हैं। सितंबर में बढ़े तनाव के बाद गजा ने इस्राइल पर नए सिरे से दर्जनों रॉकेट दागे थे। तनाव को देखते हुए इस्राइल ने दो सप्ताह के लिए गजा से जुड़े श्रमिकों के लिए सीमा बंद कर दी थी।
क्या कर रहा था इस्राइल का एंटी मिसाइल सिस्टम, वर्ल्डवार का खतरा
जिस एंटी मिसाइल सिस्टम को इस्राइल दूसरे देशों को बेचता है आज वो सिस्टम क्यों फ्लॉप हुआ ? जानकारी के अनुसार पांच हजार मिसाइल में से सिर्फ दो मिसाइलों को गिराने में इस्राइल कामयाब हो सका। इसका मतलब साफ है कि एंटी मिसाइल सिस्टम पूरी तरह से नाकाम साबित हुआ है। हैरत की बाद तो ये है इस्राइल को इस हमले की खबर तक नहीं हो सकी जबकि पूर्व में फिलिस्तीन के एक ड्रोन जो विस्फोटक से लैस था उसे मार गिराए था। यही नहीं हमास के लड़ाकों ने सुरंग बनाकर घुसने की कोशिश की थी जिसे नाकाम कर दिया गया था। बावजूद इसके इतना बड़ा हमला हो गया और इस्राइल सोता रह गया।
बहरहाल अब इस हमले का जवाब देने के लिए इस्राइल भी मैदान में उतर आया है लेकिन इस्राइल के लिए इस समय की सबसे बड़ी समस्या ये है कि हमास ने इस्राइल के कई नागरिकों और सैनिकों को बधक बना रखा है ऐसे समय में हमास इस्राइल को ब्लैकमेल कर सकता है। वैसे भी इस युद्ध के परिणाम अच्छे नजर आते हुए नहीं दिखाई दे रहे हैं। क्योंकि जहां अमेरिका और यूक्रेन ने इस्राइल का साथ दिए जाने की घोषणा कर दी है तो वहीं सऊदी अरब ,ईरान और सीरिया सहित चीन भी फिलिस्तीन के साथ आता हुआ नजर आ रहा है, यदि ऐसा होता है तो एक नई वर्ल्डवार होने की संभावना प्रबल हो सकती है।