बर्ड फ्लू से निपटने के लिए प्रदेश सरकार सक्रीय
लखनऊ,संवाददाता | कोरोना वायरस की गति पर अंकुश लगने के बाद उत्तर प्रदेश में बर्ड फ़्लू के संक्रमण के मद्देनज़र प्रदेश की योगी सरकार सतर्क हो गई है लेकिन सरकार के सतर्क होने से पहले ही कानपुर के चिड़ियाघर में मृत पाई गई जंगली मुर्गियों में बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के बाद प्रशासन हाई अलर्ट पर है | चिड़ियाघर के सभी बाड़ों में मौजूद पक्षियों के मारने के आदेश दिए गए हैं और साथ ही चिड़ियाघर से एक किलोमीटर तक के एरिया को कन्टेनमेंट जोन घोषित कर दिया गया हैं | इतना ही नहीं 10 किमी के दायरे में मांस की बिक्री पर प्रतिबंध भी लगा दिया गया है |
यूपी के सीमा से लगे राज्य मध्यप्रदेश, हरियाणा , राजस्थान और हिमाचल में एवियन इनफ़्लुएंज़ा के संक्रमण को देखते हुए उत्तर प्रदेश को नियंत्रित क्षेत्र घोषित किया गया है | वहीं प्रदेश में बर्ड फ़्लू के संक्रमण को देखते हुए फ़िलहाल कोई पक्षी नहीं लाया जाएगा |
पक्षियों के यूपी की सीमा में आयात पर प्रतिबंध
यूपी सरकार ने सभी प्रकार के जीवित पक्षियों को यूपी की सीमा में आयात पर प्रतिबंध लगा दिया है | 24 जनवरी तक लगे प्रतिबंध के बीच अगर कोई व्यवसायी या परिंदों के शौक़ीन यूपी में कोई भी पक्षी लेकर आता है तो उस पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी |
अनिशिचतकाल के लिए ज़ू बंद
बता दें कि बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के बाद 15 दिनों के लिए चिड़ियाघर को बंद किया गया था | लेकिन अब अनिशिचतकाल के लिए ज़ू को बंद किया गया है | किसी को भी चिड़ियाघर में प्रवेश नहीं दिया जाएगा। फ़िलहाल चिड़ियाघर में स्वास्थ विभाग की टीम मौजूद है और पक्षियों को मारने की तैयारी की जा रही है |
कानपूर के अलावा यहाँ हो सकती है बर्ड फ्लू की पुष्टि
जानकारी के अनुसार कानपुर चिड़ियाघर में चार जंगली मुर्गियों और चार हीरामन तोतों की मौत हो जाने के बाद इन्हीं में से मृत मुर्गियों में बर्ड फ्लू की पुष्टि हुई है | इसके अलावा बाराबंकी, सोनभद्र, झांसी और अयोध्या में कौवे मृत पाए गए थे | इनका सैंपल जांच के लिए भोपाल भेजा गया है जिसकी रिपोर्ट अभी नहीं आई है |
यूपी सरकार ने बचाव के दिशा-निर्देश
जिस तरह से राज्य दर राज्य बर्ड फ्लू अपने पैर पसार रहा है, उसे देखते हुए पहले ही यूपी सरकार ने बचाव के दिशा-निर्देश जारी कर दिए गए हैं | चिड़ियाघरों में मांसाहारी जानवरों के खाने के लिए लाई जाने वाली मुर्गियों को प्रतिबंधित कर दिया गया है | साथ ही अलग-अलग जगहों से चिड़ियों की बीट और उनके रिहायश की मिट्टी को जांच के लिए भेजा जा रहा है |
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